* वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और दिव्यांगजन के लिए निचली बर्थ उपलब्ध कराने की सुविधा के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।
* वरिष्ठ नागरिकों, 45 वर्ष से अधिक आयु की महिलाओं और गर्भवती महिलाओं के लिए निचली बर्थ आरक्षित
* सभी मेल/एक्सप्रेस ट्रेनों, जिसमें राजधानी और शताब्दी जैसी ट्रेनें भी शामिल हैं, में दिव्यांगजन के लिए आरक्षण कोटा उपलब्ध
दिनांक – रेल, सूचना एवं प्रसारण, और इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने लोकसभा में एक प्रश्न के उत्तर में बताया कि भारतीय रेलवे वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं और दिव्यांगजन को निचली बर्थ उपलब्ध कराने के लिए लगातार प्रयासरत है।
* वरिष्ठ नागरिकों, 45 वर्ष और उससे अधिक आयु की महिला यात्रियों और गर्भवती महिलाओं को, यदि सीट उपलब्ध हो, तो स्वचालित रूप से निचली बर्थ आवंटित की जाती है, भले ही उन्होंने बुकिंग के समय कोई विशेष विकल्प न चुना हो।
* स्लीपर क्लास में प्रत्येक कोच में 6 से 7 निचली बर्थ का विशेष कोटा।
* एयर-कंडीशंड 3 टियर (3एसी) में प्रत्येक कोच में 4 से 5 निचली बर्थ।
* एयर-कंडीशंड 2 टियर (2एसी) में प्रत्येक कोच में 3 से 4 निचली बर्थ।
* यह सुविधा ट्रेन में कोचों की संख्या के अनुसार उपलब्ध कराई जाती है, जिससे यात्रियों को अधिकतम सुविधा दी जा सके।
दिव्यांगजन के लिए आरक्षण कोटा:
* स्लीपर क्लास में 4 बर्थ (जिसमें 2 निचली बर्थ शामिल)।
* 3एसी /3एसी इकॉनामी क्लास में 4 बर्थ (जिसमें 2 निचली बर्थ शामिल)।
* आरक्षित द्वितीय सीटिंग या एयर-कंडीशंड चेयर कार में 4 सीटें।
यात्रा के दौरान यदि निचली बर्थ खाली रह जाती हैं, तो उन्हें प्राथमिकता के आधार पर वरिष्ठ नागरिकों, दिव्यांगजन और गर्भवती महिलाओं को आवंटित किया जाता है, जिन्हें पहले मध्य या ऊपरी बर्थ दी गई हो ।
भारतीय रेलवे यात्रियों को सुविधाजनक और सहज यात्रा अनुभव प्रदान करने के लिए इन समावेशी उपायों के प्रति प्रतिबद्ध है। यात्रियों को इन सुविधाओं का लाभ उठाने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है, जिससे वे सुरक्षित और आरामदायक यात्रा कर सकें ।