25 दिसंबर को गोविंद अग्रवाल के चंद्रपुर पहुंचने पर ट्रस्ट के सदस्यों सहित नागरिकों ने की मुलाकात, बोन मैरो की समस्या से पीड़ित गोविंद ने लिया था लंदन में चिकित्सा लाभ
सक्ती- 25 दिसम्बर को गोविन्द अग्रवाल के स्वास्थ्य लाभ ले स्वदेश लौटने उपरांत उनकी धर्मपत्नी सरला अग्रवाल ने माँ चंद्रहासिनी के मंदिर में कर नापते हुआ माथा टेक दर्शन किये,चंद्रपुर के प्रतिष्ठित नागरिक एवं श्री गोपाल जी महाप्रभु एवं श्री चंद्रहासिनी देवी मंदिर न्यास के न्यासी गोविन्द अग्रवाल बोन मैरो में कैंसर की समस्या से जूझ रहे थे, उनका इलाज बाम्बे के बाद किंग्स कॉलेज लंदन में हुआ. स्वास्थ्य लाभ ले स्वदेश लौटने उपरांत उनकी धर्मपत्नी सरला ने उनके साथ प्रथम दर्शन को माँ चंद्रहासिनी के मंदिर में कर नापते माथा टेका
माँ चंद्रहासिनी के प्रति उनकी एवम उनके परिवार की अपार आस्था है, उनका मानना है माँ चंद्रहासिनी के आशीष से ही इस मुश्किल घड़ी से उबर सके है,स्वास्थ्य लाभ ले स्वदेश लौटे गोविन्द अग्रवाल भी अपने बेटे – बहु , नाती नातनिन, भाभी लोगो के साथ माँ के दर्शन कर माथा टेके. उन्होंने माँ चन्द्रहासिनी के आशीष से ही इस दुरूह व्याधि से उबर पाना संभव बताया. इस दौरान मंदिर न्यासी – अजीत पाण्डेय, पवन अग्रवाल, शरद अग्रवाल, श्यामसुंदर देवांगन, रणजीत दास एवं कर्मचारी रूद्र उपाध्याय, फरीद शाबरी, माखन, चौहान, नित्या आदि उपस्थित थे एवं गोविंद जी को स्वस्थ्य अपने बीच पा सभी ने माता रानी का पूजन कर आशीष लिया
उल्लेखित हो कि चंद्रपुर के गोविंद अग्रवाल लंदन चिकित्सा उपचार लेने जाने से पूर्व भी माता चंद्रहासिनी देवी के सपरिवार दर्शन कर वे लंदन गए थे, तथा वे निरंतर जन सेवा, समाज सेवा एवं धर्म के कार्यों में अग्रणी होकर अपना योगदान देते हैं, तथा उनके लंदन में चिकित्सा उपचार लेने जाने के बाद पूरे जिले सहित प्रदेश के लोगों ने उनके शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना की थी