ग्रामों में विभिन्न सरकारी योजनाओं के अमल हेतु अदाणी फाउंडेशन की पहल

अंबिकापुर: राजस्थान राज्य विद्युत् उत्पादन निगम लिमिटेड (आर आर वी यू एन एल) को आवंटित परसा ईस्ट केते बासेन (पी ई के बी) कोयला खदान के अंतर्गत आने वाले ग्रामों में सरकार के विभिन्न कृषि सम्बन्धी विकास कार्यों तथा महिलाओं को विकासात्मक योजनाओं से जोड़ने हेतु अदाणी फाउंडेशन ने पहल की है। अदाणी फाउंडेशन तथा अदाणी इंटरप्राइजेज़ के अधिकारियों ने सरगुजा जिला के कलेक्टर संजीव कुमार झा से पिछले दिनों शिष्टाचार मुलाकात की। इस दौरान पी ई के बी कोयला खदान के अंतर्गत आने वाले परसा, साल्हि और घाटबर्रा सहित कई ग्रामों में कृषि तथा महिला एवं बाल विकास के अलग अलग योजनाओं को लागू कराने के बारे में विस्तार से चर्चा हुई। चर्चा के बाद जिला कलेक्टर ने सरकारी योजनाओं को कार्यान्वित करने का भरोसा दिलाया।

इन योजनाओं के अमल लाने हेतु सरगुजा जिले के अपर कलेक्टर अमृतलाल ध्रुव के साथ मृदा वैज्ञानिक डॉ. प्रशांत शर्मा, सहायक निदेशक- कृषि, एम पैकरा और जिला कार्यक्रम प्रबंधक, महिला एवं बाल विकास वसंत मिंज द्वारा पी ई के बी के आसपास के ग्रामों का दौरा किया गया। दौरे के पश्चात मुख्य रूप से इन योजनाओं के कार्यान्वयन हेतु निर्देश दिए गए।

जिनमें आर आर वी यू एन एल के सीएसआर मद से अदाणी फाउंडेशन द्वारा किसानों के लिए खोदे गए बोरवेल में 5 नग सोलर वाटर पंप दिए जाएंगे। जिसका अगले 7 दिनों में किसानों से आवेदन पत्र भराकर प्रशासन को जमा कराया जायेगा। इसके साथ रागी और कोदो की खेती के लिए 100 एकड़ भूमि वाले किसानों का एक समूह विकसित कर उत्पादित रागी को 5600.00 रुपये प्रति क्विंटल न्यूनतम समर्थन मूल्य के साथ खरीदा जायेगा । वहीं महिला स्व-सहायता समूहों को महिला कोष ऋण योजना के तहत महिला एवं बाल विकास योजना के तहत सॉफ्ट लोन भी प्रदान कराने सहायता इत्यादि शामिल है |

 

इसकी सहमति के साथ साथ अपर कलेक्टर द्वारा वर्तमान में की जा रही नेपियर घास की खेती में अंतर फसल के लिए 4 किसानों को 20 किलोग्राम मक्के के बीज वितरित किए। उन्होंने साल्हि, घाटबर्रा, परसा इत्यादि ग्रामों में अदाणी फाउंडेशन के मार्गदर्शन में चलाये जा रहे वर्मीकम्पोस्ट उत्पादन इकाई, जैविक खेती तथा कीटनाशक उत्पादन इकाई को देखा | और महिला उद्यमी बहुउद्देशीय सहकारी समिति (मब्स ) के विभिन्न इकाइयों को जानकर कहा कि “अदाणी फाउंडेशन ने परसा गांव में कई योजनाओं के साथ साथ जैविक खेती के लिए सहभागी तरीके से शानदार काम किया है और इस जैविक खेती के उत्पादन मॉडल को सरगुजा जिले की अन्य ग्राम पंचायतों में भी लागू किया

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