छोटे व्यापारियों के लिए कोरोना वायरस और उसे रोकने के लिए लगाए लॉकडाउन जानलेवा सिद्ध होता जा रहा है। अभी तीसरी लहर की आशंका से व्यापारी में डर और भी तेजी से बढ़ने लगा है। संभावित लॉकडाउन ने उनमें भविष्य को लेकर डर पैदा कर दिया है। मध्य प्रदेश के छतरपुर में ऐसे ही एक व्यापारी ने डर और हानि होने की आशंका को देखते हुए जान देने का प्रयास किया।
ये केस छतरपुर जिले के मातगुवा थाना इलाके का कहा जा रहा है। खड़गांय निवासी कपड़ा व्यापारी अंशुल शर्मा पिता विनय शर्मा ने जहर खाकर जान देने का प्रयास किया। जिला अस्पताल में उसका उपचार किया जा रहा है। फिलहाल वह ठीक हो चुके है। अंशुल का बोलना है कि वह गांव में कपड़े की दुकान चलाता है। साथ ही हाट-बाजार और अन्य गांवों में भी बाजार करने के लिए जाता है। कोरोना वायरस की पहली और दूसरी लहर और लॉकडाउन ने उसे बहुत घाटे के सामना करना पड़ा था। ऊपर से तीसरी लहर और लॉकडाउन का डर को और भी ज्यादा बढ़ा दिया है। इन हालातों ने धंधे की कमर तोड़ते जा रही है। तीसरी लहर की सुगबुगाहट सुनकर वह दहशत में आ चुका था। इस कारण से उसने सुसाइड करने के उद्देश्य से घर में रखी चूहा मार दवाई को खा लिया था।
दो माह की बेटी की परवरिश की चिंता : जहां इस बात का पता चला है कि अंशुल की 2 वर्ष पूर्व मंजूलता से विवाह हुआ था। उसकी दो महीने की एक बेटी भी है। अब तक हुई हानि और बच्ची की परवरिश की चिंता ने उसको अंदर से हिलाकर रख दिया है। उसे समझ नहीं आ रहा कि निरंतर होते जा रहे नुकसान की भरपाई कैसे की जाएगी। अब आने वाली आफत उसे जीवनभर उबरने नहीं देगी। इसके डर से उसने जहर खाकर जान देने का प्रयास किया।