दो दिवसीय सांस्कृतिक महोत्सव जश्न ए ज़बाँ ने रचा नया इतिहास

सोलह विविध सत्रों में हुई अनेक प्रस्तुतियाँ, कवि सम्मेलन, शास्त्रीय नृत्य, लोकगायन, परिचर्चा व सम्मान समारोह का हुआ आयोजन

न्यायधानी बिलासपुर कला, संस्कृति, संगीत व साहित्य से रमी दो शाम का पुनः साक्षी बना. संस्कृति विभाग छत्तीसगढ़ शासन व एसईसीएल के विशेष सहयोग से प्रदेश की सुप्रसिद्ध संस्था साईनाथ फाउंडेशन द्वारा नृत्यधारा फाउंडेशन व नभअनंत फाउंडेशन के साथ मिलकर आयोजित दो दिवसीय सांस्कृतिक-साहित्यिक महोत्सव जश्न ए ज़बाँ का शानदार आयोजन ने पुरे शहर को रोमांचित कर दिया.

बांसुरी वादन की अद्भुत प्रस्तुति बनारस से पधारे डॉ. राकेश कुमार ने प्रस्तुत की, तबला पर उनका सधा हुआ साथ प्रख्यात तबला वादक आनंद मिश्रा ने निभाया. अग्रज नाट्य दल ने शानदार हास्य नाटक की प्रस्तुति दी. भिलाई से पधारे नृत्यगुरु रतिश बाबू ने अपने समूह के साथ भरतनाट्यम की नयनाभिराम प्रस्तुति से माहौल को रसपूर्ण कर दिया.

समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि केंद्रीय आवासन व शहरी विकास राज्यमंत्री तोखन साहू, विशिष्ट अतिथि के रूप में जिला पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह, शिक्षाविद निवेदिता सरकार व नभअनंत फाउंडेशन के संस्थापक नितिन त्रिपाठी मंच पर आसीन रहे.

शहर व प्रदेश सहित देशभर से आए डेढ़ सौ से ज्यादा कलाकारों ने इस दो दिवसीय महोत्सव में अपनी अलग-अलग विधाओं की प्रस्तुति दी. नृत्य, नाट्य, संवाद, परिचर्चा, गायन, वादन, साहित्य सहित कला प्रदर्शनी ने भी दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया.

इस आयोजन के द्वितीय दिवस में भी शहर की प्रतिष्ठित संस्थाओं व व्यक्तियों को अतिथियों ने उनके विभिन्न क्षेत्रों में योगदान व उपलब्धियों हेतु सम्मानित किया.

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