50 फीसदी से अधिक बालिका लाभार्थियों के साथ यह प्रोग्राम डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा देने के प्रयासों की पुष्टि करता है
छत्तीसगढ़ के माननीय मुख्यमंत्री विष्णु देव साई और सूरजपुर से आईएएस, कलेक्टर, रोहित व्यास ने डीटीवी का दौरा किया
इम्प्लीमेंटेशन पार्टनर एनआईआईटी फाउन्डेशन द्वारा, सौर उर्जा से संचालित डीटीवी ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों के वंचित समुदायों को डिजिटल शिक्षा एवं प्रशिक्षण में सर्टिफिकेशन कोर्सेज़ उपलब्ध कराती है
सूरजपुर/ अंबिकापुर, : भारत के प्रमुख टेलीकॉम इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रदान करने वाली कंपनी इंडस टॉवर्स ने छत्तीसगढ़ में अपनी पहल डिजिटल ट्रांसफोर्मेशन वैन (डीटीवी) के माध्यम से वंचित वर्ग के लोगों तक डिजिटल शिक्षा को पहुंचाने में उसकी भूमिका पर रोशनी डाली। 50 फीसदी से अधिक बालिकाओं की भागीदारी के साथ यह प्रोग्राम क्षेत्र में डिजिटल साक्षरता में सकारात्मक बदलाव लाया है, जिसके तहत खासतौर पर सूरजपुर के जजवाल, अंजनी एवं गोरगी गांवों के लोगों को डिजिटल ज्ञान प्रदान करने पर ज़ोर दिया गया है। छत्तीसगढ़ के माननीय मुख्य मंत्री विष्णु देव साई और सूरजपुर से आईएएस, कलेक्टर, रोहित व्यास ने डीटीवी का दौरा किया।
इस पहल की सराहना करते हुए छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साई ने कहा, ‘‘हमारे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के दृष्टिकोण के अनुरूप इंडस टावर्स का डिजिटल ट्रांसफोर्मेशन व्हीकल, समुदायों को डिजिटल कौशल प्रदान कर डिजिटल सेवाओं को सुलभ बनाता है। यह प्रोग्राम न सिर्फ डिजिटल अंतर को दूर करता है बल्कि प्रगतिशील एवं समावेशी छत्तीसगढ़ के निर्माण की दिशा में भी अग्रसर है। इस तरह के प्रयासों के माध्यम से हम राज्य के डिजिटल विकास में योगदान देना चाहते हैं। यह देखकर अच्छा लगता है कि ज़िले के लोगों ने बढ़चढ़ कर इस अभियान में हिस्सा लिया है।’’
डीटीवी प्रोग्राम की सफलता पर बात करते हुए आशीष मित्रा, सर्कल सीईओ, एमपीसीजी, इंडर्स टावर्स ने कहा,‘‘हमें खुशी है कि छत्तीसगढ़ के लोग हमारी डीटीवी पहल में उत्साह के साथ हिस्सा ले रहे हैं। बुनियादी आईटी, साइबर सुरक्षा, वित्तीय सुरक्षा में उनके कोर्सेज़ बेहद उपयोगी साबित हुए हैं। हम छात्रों की उत्सुकता से भी प्रेरित हैं जो कुछ नया सीखकर आगे बढ़ना चाहते हैं। उनका उत्साह हमें इस पहल को देश भर विस्तारित करने के लिए प्रेरित करता है, इसके माध्यम से हम सुनिश्चित करेंगे कि अधिक से अधिक लोगों को आज के डिजिटल दौर में सफलता हासिल करने के लिए ज़रूरी डिजिटल कौशल प्रदान किया जाए। यह पहल समुदायों को सशक्त बनाने तथा समावेशी भविष्य के निर्माण के लिए डिजिटल अंतर को दूर करने की हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाती है।’’